सुभेद्य जातियों से क्या आशय है

सुभेद्य (Vulnerable) जातियाँ-

सुभेद्य जातियों से आशय उन जातियों से हैं जिनकी संख्या घट रही है।

ये जातियाँ वर्तमान समय में खतरे से बाहर हैं, पर यदि इन्हें अभी से संरक्षित नहीं किया गया तो ये निकट भविष्य में विलुप्त हो सकते हैं।

यदि इनकी संख्या पर विपरीत प्रभाव डालने वाली परिस्थितियाँ नहीं बदली जाती और इनकी संख्या घटती रहती है तो यह संकटग्रस्त जातियों की श्रेणी में शामिल हो जाएँगी।

लंगूर, चिंकारा, एन्टीलोप, नीली भेड़, एशियाई हाथी, गंगा नदी की डॉल्फिन इत्यादि इस प्रकार की जातियों के उदाहरण हैं।

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