मौर्य काल में लक्षण अध्यक्ष मुद्रा व्यवस्था तथा राजकीय टकसाल का नियंत्रक था |
मौर्य काल तक मुद्रा का प्रचलन हो चुका था |
मुद्रा के निर्माण और संचालन पर राज्य का एकाधिकार था |
अर्थशास्त्र में विस्तृत मुद्रा प्रणाली की चर्चा की गई है |
इसके विभिन्न प्रकार के सिक्को, पण, कार्षापण, सुवर्ण, माषक, काकणी, अर्धकाकणी का उल्लेख मिलता है |
चाँदी के सिक्के चार प्रकार –
* पण
* अर्धपण
* पाद
* अष्टभाग
तांबे के सिक्के के भी चार प्रकार –
* माषक
* अर्ध माषक
* काकणी
* अर्ध काकणी